छत्तीसगढ़ / सुकमा

दूरस्थ माओवाद प्रभावित ग्रामों में डायरिया रोकथाम हेतु जनजागरूकता अभियान

 सुकमा । कलेक्टर  देवेश कुमार ध्रुव के निर्देशन में डायरिया रोकथाम अभियान के तहत पीएचई विभाग की टीम द्वारा जिले के अति-दूरस्थ और माओवाद प्रभावित क्षेत्रों में जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। इसी क्रम में विकासखंड कोंटा के ग्राम टेकलगुड़ियम और गोलापल्ली में ग्रामीणों को सुरक्षित पेयजल, स्वच्छता और स्वास्थ्य के प्रति जागरूक किया गया।

टेकलगुड़ियम और गोलापल्ली में स्वच्छ जल और स्वास्थ्य पर विशेष फोकस

दूरस्थ ग्राम टेकलगुड़ियम में पीएचई विभाग की टीम ने ग्रामीणों को जल जनित बीमारियों विशेषकर डायरिया से बचाव के उपायों की जानकारी दी। ग्रामीणों को बताया गया कि सुरक्षित और स्वच्छ जल के उपयोग से डायरिया जैसी जानलेवा बीमारियों से बचा जा सकता है। इस दौरान ग्रामीणों को जल गुणवत्ता जांच की प्रक्रिया भी समझाई गई और जल नमूनों का परीक्षण किया गया। डायरिया रोकथाम अभियान के तहत ग्राम गोलापल्ली में भी विशेष जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया। यहां स्कूलों में छात्र-छात्राओं को साफ-सफाई रखने, हाथ धोने की आदत डालने तथा केवल उबला या फिल्टर किया हुआ पानी पीने की सलाह दी गई। साथ ही ग्रामीणों को बताया गया कि खुले स्रोतों से जल लेने के पहले उसका परीक्षण आवश्यक है।

अभियान के दौरान जल संरक्षण की आवश्यकता पर भी जोर दिया गया। ग्रामीणों को वर्षा जल संचयन, सोखता गड्ढे और घरों में पानी का विवेकपूर्ण उपयोग करने जैसे उपाय बताए गए। साथ ही यह भी बताया गया कि जल स्रोतों को स्वच्छ रखना सामूहिक जिम्मेदारी है।

पीएचई विभाग के अधिकारियों ने बताया कि ग्रामीणों की भागीदारी से ही ऐसे अभियान सफल हो सकते हैं। अभियान का उद्देश्य  जानकारी देना के साथ ही ग्रामीणों में स्थायी व्यवहार परिवर्तन लाना है, जिससे संपूर्ण गांव को स्वस्थ और रोगमुक्त बनाया जा सके। इस अभियान को लेकर ग्रामीणों में उत्साह देखा गया और उन्होंने भी अपने स्तर पर स्वच्छता और जल सुरक्षा के लिए योगदान देने का संकल्प लिया।

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